https://www.choptaplus.in/

तापमान बढ़ने से किसानों की बढ़ी चिंता समय से पूर्व गेहूं निकालने लगी बालियाँ.

 
gehun
गेहूं की फसल को इस समय ठंड की जरूरत है, लेकिन तापमान में हुई बढ़ोतरी गेहूं को नुकसान पहुंचा रही है।

 4-5 दिनों से मौसम में आए बदलाव के कारण किसानों की चिंता बढ़ चुकी है।  तापमान बढ़ने के कारण गर्मी का अहसास होने लगा है। किसानों का कहना है कि गेहूं की फसल को इस समय ठंड की जरूरत है, लेकिन तापमान में हुई बढ़ोतरी गेहूं को नुकसान पहुंचा रही है। समय से पूर्व ही गेहूं की बालियां निकलने लगी है। ईस कारण गेहूं के उत्पादन पर काफी विपरीत असर पड़ेगा।

उनका कहना है कि विगत वर्ष भी मार्च में काफी गर्मी पड़ने के चलते उत्पादन कमजोर रहा।

किसानों ने बताया कि इस बार वैसे भी ठंड देरी से शुरू हुई। जनवरी में उम्मीद थी कि बारिश होगी, लेकिन नहीं हुई। बारिश की कमी तो कुछ दिन पड़ी कड़ाके की ठंड व धुंध ने पूरी कर दी, लेकिन इस समय मौसम में आई तब्दीली के चलते गेहूं को नुकसान हो सकता है। गेहूं को इस समय ठंड की जरूरत है, लेकिन पिछले करीब एक सप्ताह से तापमान में बढ़ोतरी चल रही है। वहीं कृषि विशेषज्ञों का कहना है कि मौसम में ये बदलाव गेहूं के लिए विपरीत साबित होगा।

इस बार पूरा दिसंबर बीत जाने के बाद भी ठंड नहीं पड़ी। जनवरी में कुछ दिन ठंड व धुंध रही, जिसके चलते गेहूं की फसल पर काफी अच्छा असर रहा। पिछले 4-5 दिनों से बढ़ा तापमान उत्पादन समीकरण बिगाड़ने का काम रहा है। यही स्थिति रही तो गेहूं समय से पूर्व ही बाली निकाल लेगी और दाना कमजोर हो जाएगा। इस समय थोड़ी-बहुत बारिश व ठंड हो जाए तो गेहूं के लिए राम बाण साबित होगी।

खरीफ की फसल बर्बाद होने के चलते रबी की फसल से उम्मीदें हैं, लेकिन इस समय बढ़ा तापमान गेहूं की फसल पर विपरीत असर डाल रहा है। कभी मौसम की मार तो कभी खाद-बीज या पानी नहीं, कृषि घाटे का सौदा बनकर रह गई है। गेहूं को इस समय ठंड या बारिश की जरूरत है, लेकिन तापमान इस समय विपरीत चल रहा है। किसानों के लिए चिंता का विषय है।

इस बार गर्मी अधिक रही है, ठंड तो एक माह भी नहीं हुई। फरवरी शुरू होते ही गर्मी का अहसास होने लगा। मौजूदा तापमान गेहूं की फसल के लिए नुकसानदायक है। जनवरी में कुछ दिन कोहरा जमने के चलते सरसों की फसल को नुकसान हुआ। तापमान में बढ़ोतरी गेहूं की फसल के उत्पादन पर काफी विपरीत असर डालेगी।

गेहूं में पूरा सीजन 5 से 6 बार सिंचाई की जरूरत होती है, लेकिन पिछले कुछ दिनों से तापमान में हुई बढ़ोतरी के चलते मजबूरन दो बार अतिरिक्त सिंचाई करनी पड़ेगी। उत्पादन पर भी असर पड़ेगा। गर्मी की वजह से पौधे की बढ़वार नहीं हो रही। समय से करीब 10 दिन पूर्व ही बालियां निकलने लगी हैं। अब तो अगर थोड़ी सी बारिश हो जाए तो वरदान साबित होगी।

पिछले कुछ दिनों से तापमान में बढ़ोतरी चल रही है। ऐसे में गेहूं के उत्पादन पर विपरीत असर पड़ना स्वाभाविक है। ये मौसम गेहूं के प्रतिकूल है। समय से पूर्व ही गेहूं बालियां निकालने लगी हैं। मौसम की मार ये होगी कि बाली में दाना कमजोर पड़ जाएगा। किसानों को अतिरिक्त सिंचाई करने की आवश्यकता पड़ेगी।

Rajasthan