https://www.choptaplus.in/

Sirsa news. जल्द नहीं हुई कार्रवाई तो करेंगे धरना शुरू: बलकार रामगढिय़ा.

बैंक अधिकारियों ने उनकी शिकायतों का जवाब नहीं दिया और उसके खाते से लाखों रुपये निकाल लिए।
 
bank adhikari
6 साल पूर्व ग्रीवेंस कमेटी में मंत्री ने दिए थे कार्रवाई के आदेश

          

सिरसा। बाबा विश्वकर्मा कामगार यूनियन, रानियां के प्रधान बलकार रामगढिय़ा ने मीडिया से मुखाबित होते हुए बैंक अधिकारियों पर उसके साथ धोखाधड़ी के आरोप लगाए हैं। बलकार रामगढिय़ा ने बताया कि वर्ष 2011 में प्रधानमंत्री योजना के तहत उन्हें 5 लाख रुपये का लोन मिला था।

उन्होंने दो लाख रुपये लिएए जबकि तीन लाख रुपये नहीं लिए। बाद में बैंक द्वारा उनका खाता बिना उनकी अनुमति के डीएक्टिवेट कर दिया गया और अनधिकृत शुल्क व निकासी की गई।

बैंक अधिकारियों ने उनकी शिकायतों का जवाब नहीं दिया और उसके खाते से लाखों रुपये निकाल लिए। इस संदर्भ में बैंक अधिकारियों के खिलाफ  कार्रवाई को लेकर उसने अनेक बार एसबीआई अधिकारियों और स्थानीय प्रशासन से भी न्याय की गुहार लगाई, लेकिन नतीजा शून्य रहा।

उनका कहना है कि बैंक अधिकारियों द्वारा उनके खाते से बिना किसी बैंक वाउचर  के लाखों रुपये निकाले गए। इसके बाद उनका खाता ओवरड्राफ्ट हो गया और वह डिफॉल्ट हो गए। रामगढिय़ा का कहना है कि बैंक अधिकारियों के बीच आपसी रंजिश और दुश्मनी की वजह से उनके खिलाफ  गलत तरीके से मामले बनाए गए।

उन्हें बाद में बीमा पॉलिसी खरीदने के लिए भी दबाव डाला गया। उनकी शिकायतों का सिलसिला लगातार बढ़ता गया और मामला कोर्ट तक पहुंच गया। इसके बाद 2018 में शिकायतों के आधार पर एक विशेष जांच टीम (एसआईटी) का गठन किया गया, जिसने बैंक अधिकारियों को दोषी पाया।

एसआईटी की रिपोर्ट में यह पुष्टि की गई कि बैंक अधिकारियों ने नियमों का उल्लंघन किया और बलकार रामगढिय़ा के खातों से अवैध तरीके से पैसा निकाला है। इसके बाद मामला ग्रीवेंस कमेटी में चला गया। कमेटी के अध्यक्ष कृष्ण बेदी ने इस मामले की गंभीरता को समझते हुए जिला उपायुक्त को निर्देशित किया कि आरोपी अधिकारियों के खिलाफ  उचित कार्रवाई की जाए। इसके बावजूद अब तक कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया है।

उसके बाद इसी संबंध में एक शिकायत सीएम विंडो पर की गई, जो कि आज तक पेंडिंग पड़ी है उसे पर कोई कार्रवाई नहीं हुई रामगढिय़ा ने कहा के सरकार दावा करती है कि किसी भी सीएम विंडो शिकायत का निपटान 1 महीने के अंदर-अंदर किया जाता है, लेकिन मेरी शिकायत पर 6 वर्ष बीत जाने के बाद भी कोई कार्रवाई क्यों नहीं?

रामगढिय़ा ने सरकार और संबंधित अधिकारियों से अपील की है कि इस मामले में शीघ्र कार्रवाई की जाए और दोषी अधिकारियों के खिलाफ  रानियां थाना में एफआईआर दर्ज की जाए। उनका कहना है कि यदि इस मामले में जल्दी न्याय नहीं मिला तो वह सडक़ों पर उतरकर आंदोलन करेंगे।

Rajasthan
News Hub