खतरनाक हैं ,  ये  बैक्टीरिया, अंदर ही अंदर चट कर रहा  मांस, अब तक 77 की मौत, 5 लक्षणों पर रखें कड़ी नजर

जापान में मांस खाने वाले बैक्टीरिया ने इन दिनों आफत मचा रखी है, इससे कम से कम 77 लोगों की मौत हो गई है, CDC ने इसके लक्षण और इलाज के बारे में बताया है।
 

इस खतरनाक इन्फेक्शन की मृत्यु दर 30% तक है।

इस बीमारी को स्ट्रेप्टोकोकल टॉक्सिक शॉक सिंड्रोम (STSS) या 'मांस खाने वाला बैक्टीरिया' (flesh-eating bacteria) के नाम से जानी जाती है


जापान में मांस खाने वाले बैक्टीरिया ने इन दिनों आफत मचा रखी है, इससे कम से कम 77 लोगों की मौत हो गई है, CDC ने इसके लक्षण और इलाज के बारे में बताया है।


जापान में एक जानलेवा इन्फेक्शन के लगभग 1,000 मामले सामने आए हैं। इस बीमारी को स्ट्रेप्टोकोकल टॉक्सिक शॉक सिंड्रोम (STSS) या 'मांस खाने वाला बैक्टीरिया' (flesh-eating bacteria) के नाम से जानी जाती है। ये जापान में तेजी से फैल रहा है और इससे कम समय में ही मृत्यु हो सकती है।

इस खतरनाक इन्फेक्शन की मृत्यु दर 30% तक है। बताया जा रहा है कि जनवरी और मार्च के बीच इस संक्रमण से लगभग 77 लोगों की मौत हो चुकी है। पिछले साल इस संक्रमण से 97 मौतें हुई थीं।

एसटीएसएस एक दुर्लभ लेकिन गंभीर बैक्टीरियल इन्फेक्शन है। ये तब होता है जब बैक्टीरिया शरीर के भीतरी ऊतकों और खून की धारा में फैल जाते हैं। शुरुआत में मरीजों को बुखार, मांसपेशियों में दर्द और उल्टी जैसे लक्षण होते हैं। लेकिन ये स्थिति तेजी से जानलेवा भी हो सकती है। इसमें मरीज को लो ब्लड प्रेशर, शरीर में सूजन और कई अंगों का काम करना बंद कर देना (मल्टीपल ऑर्गन फेलियर) जैसे लक्षण उभर सकते हैं।


'मांस खाने वाले बैक्टीरिया' से रोकथाम
साफ-सफाई बनाए रखें: एसटीएसएस से बचाव के लिए अच्छी तरह से हाथ धोना और खांसते या छींकते समय मुंह को ढंकना जैसी अच्छी आदतों का पालन करना जरूरी है।


घावों की देखभाल करें: किसी भी घाव को साफ रखें और संक्रमण के किसी भी लक्षण दिखने पर डॉक्टर से सलाह लें। इससे बैक्टीरिया को शरीर में फैलने और एसटीएसएस का कारण बनने से रोका जा सकता है।
टेस्ट: एसटीएसएस का पता लगाने के लिए कई टेस्ट किए जाते हैं, जिनमें ब्लड टेस्ट शामिल है। इस टेस्ट से ग्रुप ए स्ट्रेप्टोकोकस बैक्टीरिया का पता चलता है और शरीर के अंगों के कामकाज की जांच की जाती है।